पद्मश्री पुरस्कार से सम्मानित डोगरी भाषा की पहली आधुनिक कवयित्री पद्मा सचदेव (81) का बुधवार को मुंबई के एक अस्पताल में निधन हो गया। उन्हें बीमार होने के बाद मंगलवार शाम को अस्पताल में भर्ती कराया गया था। वह एक बेहतरीन कवयित्री थीं, लिखने पढ़ने वालों की चहेती लेखिका थीं, दूसरों की चिंता करने वाली साहित्यकार थीं और दिल से जितनी नरम थीं, उतनी ही साहसी भी।
बड़े गर्व से उल्लेख करती थीं कि वे जम्मू के राजपुरोहितों की बेटी हैं। जम्मू के पुरमंडल गांव में 1940 में उनका जन्म हुआ था । 1947 में भारत के विभाजन का शिकार बने संस्कृत के विद्वान शिक्षक जयदेव बादु की तीन संतानों में सबसे बड़ी पद्मा सचदेव ने अपनी शिक्षा की शुरुआत पवित्र नदी “देवका” के तट पर स्थित अपने पैतृक गांव के प्राथमिक विद्यालय से की थी।
प्रश्नोत्तर
प्रश्न-4 अगस्त‚ 2021 को किस भाषा की आधुनिक कवयित्री पद्मा सचदेव का निधन हो गया?
(a) हिंदी
(b) मैथिली
(c) डोगरी
(d) बांग्ला
उत्तर (c) डोगरी
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